'साइक्लोन शक्ति' के कारण दक्षिण भारत में 8 से 12 अक्टूबर तक तेज़ बारिश की आशंका, कई जिलों में येलो अलर्ट जारी। बिहार में भी 4 और 5 अक्टूबर को भारी बारिश और बाढ़/भूस्खलन की ख़बरें।
ख़बर:
मौसम विभाग (IMD) का कहना है कि दक्षिण-पश्चिम मॉनसून की विदाई 11 अक्टूबर के आसपास हो सकती है, पर 'साइक्लोन शक्ति' की वजह से दक्षिण भारत में ज़ोरदार बारिश के आसार बन गए हैं।
तमिलनाडु, केरल, आंध्र प्रदेश और कर्नाटक के तटीय इलाक़ों में 8 से 12 अक्टूबर के बीच गरज के साथ भारी बारिश की चेतावनी दी गई है। कई जिलों में येलो अलर्ट जारी किया गया है। मछुआरों और तट पर रहने वाले लोगों को सलाह दी गई है कि वे समंदर में न जाएं और तेज़ हवाओं से सावधान रहें।
IMD के 9 अक्टूबर के प्रेस नोट में बताया गया है कि 2 से 5 अक्टूबर के बीच ओडिशा, झारखंड, बिहार, उप-हिमालयी बंगाल और सिक्किम में काफ़ी ज़्यादा बारिश हुई। बिहार में तो बाढ़ आ गई और पूर्वोत्तर के पहाड़ी इलाक़ों में भूस्खलन की ख़बरें आईं। ऐसा बंगाल की खाड़ी में लगातार बन रहे सिस्टम और पश्चिमी विक्षोभ के आपस में टकराने की वजह से हुआ।
उत्तर-पश्चिम भारत में मॉनसून लौटने के साथ ही दिन और रात के तापमान में फ़र्क बढ़ने की उम्मीद है। वहीं, दक्षिण में अगले 48 से 72 घंटों तक नमी बनी रहेगी और विजिबिलिटी कम हो सकती है।
असर :
इसकी वजह से फ़सलों की कटाई, मछली पकड़ने जैसे कामों और शहरों में पानी निकालने के इंतज़ाम पर असर पड़ सकता है। इसलिए ज़रूरी है कि ज़िला प्रशासन की सलाह मानी जाए। मॉनसून की विदाई के बाद उत्तर-पश्चिम और मध्य भारत में ठंडी हवाएं चलेंगी, जिससे हवा की क्वालिटी पर असर पड़ सकता है और पराली जलाने की समस्या भी बढ़ सकती है।
आगे की बात:
अगले तीन दिनों में दक्षिण भारत में भारी बारिश होने के बाद बारिश कम होने की उम्मीद है और मॉनसून की विदाई के साथ मौसम भी ठीक हो जाएगा। इसके बाद उत्तर भारत में सर्दी की शुरुआत हो सकती है।
